“पराए आँसुओं से आँख को नम कर रहा हूँ मैं ,
भरोसा आजकल खुद पर भी कुछ कम कर रहा हूँ मैं ,
बड़ी मुश्किल से जागी थी ज़माने की निगाहों में ,
उसी उम्मीद के मरने का मातम कर रहा हूँ मैं ..!”
#drkv
भरोसा आजकल खुद पर भी कुछ कम कर रहा हूँ मैं ,
बड़ी मुश्किल से जागी थी ज़माने की निगाहों में ,
उसी उम्मीद के मरने का मातम कर रहा हूँ मैं ..!”
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